दिल्ली विधानसभा चुनाव के नजदीक आते ही राजनीतिक घटनाक्रम तेज हो गए हैं। जहां एक तरफ आम आदमी पार्टी (AAP) ने चुनावी रणनीतियों को लेकर अपनी स्थिति स्पष्ट की है, वहीं दूसरी ओर, तृणमूल कांग्रेस (TMC) और समाजवादी पार्टी (SP) ने AAP का समर्थन करने की घोषणा की है। मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने इस समर्थन का स्वागत किया और ममता बनर्जी को धन्यवाद दिया। आइए जानते हैं, दिल्ली विधानसभा चुनाव 2025 के बारे में पूरी जानकारी।

TMC का AAP को समर्थन: ममता बनर्जी ने दी बड़ी सौगात
दिल्ली विधानसभा चुनाव में ममता बनर्जी की तृणमूल कांग्रेस (TMC) ने आम आदमी पार्टी को अपना समर्थन देने की घोषणा की है। इस समर्थन की घोषणा के बाद, दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने ममता बनर्जी का आभार व्यक्त किया। केजरीवाल ने ट्विटर पर लिखा, “मैं व्यक्तिगत रूप से ममता दीदी का आभारी हूं, धन्यवाद दीदी। आपने हमेशा हमारे अच्छे और बुरे समय में हमें समर्थन और आशीर्वाद दिया है।”
ममता बनर्जी की पार्टी, TMC, जो पश्चिम बंगाल में प्रमुख विपक्षी दल है, ने दिल्ली चुनाव में AAP का समर्थन करके सियासी गलियारों में हलचल मचाई है। यह समर्थन AAP के लिए चुनावी दृष्टिकोण से बहुत महत्वपूर्ण माना जा रहा है।
सपा का समर्थन: अखिलेश यादव ने AAP को दी ताकत
TMC के समर्थन के बाद, समाजवादी पार्टी (SP) ने भी दिल्ली विधानसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी (AAP) को समर्थन देने की घोषणा की। इस समर्थन के लिए केजरीवाल ने सपा प्रमुख अखिलेश यादव का धन्यवाद किया। उन्होंने कहा, “अखिलेश आपका बहुत-बहुत धन्यवाद। आप हमेशा हमारा समर्थन करते हैं और हमारे साथ खड़े रहते हैं। मैं और दिल्ली की जनता इसके लिए आभारी हैं।”
अखिलेश यादव का समर्थन AAP के लिए एक और महत्वपूर्ण सियासी घटनाक्रम है। इससे यह साफ हो गया है कि सपा और TMC, दोनों पार्टियां AAP के साथ खड़ी हैं, जिससे दिल्ली के चुनावी मुकाबले में एक नई शक्ति का इजाफा हुआ है।
दिल्ली में गठबंधन की नई दिशा: कांग्रेस और AAP का गठबंधन टूटेगा?

2024 के लोकसभा चुनाव में कांग्रेस और AAP ने साथ मिलकर चुनावी मैदान में उतरने का फैसला किया था। दोनों पार्टियां इंडिया गठबंधन के तहत दिल्ली में चुनाव लड़ी थीं। लेकिन दिल्ली विधानसभा चुनाव में कांग्रेस और AAP ने एक-दूसरे से अलग चुनाव लड़ने का निर्णय लिया है। इससे यह सवाल उठता है कि क्या भविष्य में दिल्ली की राजनीति में बदलाव आएगा।
वहीं, AAP ने दिल्ली विधानसभा चुनावों में अपनी हैट्रिक बनाने का लक्ष्य रखा है। 2015 और 2020 के चुनावों में AAP ने क्रमशः 67 और 62 सीटों पर जीत हासिल की थी। अब इस बार पार्टी पूरी तरह से राजधानी में तीसरी बार अपनी सरकार बनाने के लिए तैयार है।
दिल्ली विधानसभा चुनाव 2025: वोटिंग और परिणाम
दिल्ली विधानसभा चुनाव की तारीख 5 फरवरी, 2025 को निर्धारित की गई है। 70 विधानसभा सीटों पर एक चरण में मतदान होगा, और 8 फरवरी को चुनाव परिणाम घोषित किए जाएंगे। चुनाव आयोग के अनुसार, इस बार दिल्ली विधानसभा चुनाव में कुल 1.55 करोड़ से ज्यादा मतदाता होंगे। इनमें पुरुष मतदाता 83,49,645, महिला मतदाता 71,73,952 और थर्ड जेंडर के मतदाता 1,261 होंगे।
यह चुनाव दिल्ली की सियासत के लिए बहुत महत्वपूर्ण माना जा रहा है। AAP की सत्ताधारी पार्टी के तौर पर प्रतिष्ठा दांव पर है, वहीं विपक्षी दलों के बीच समर्थन की जोड़ी ने इस चुनाव को और भी दिलचस्प बना दिया है।
मुख्यमंत्री केजरीवाल का बयान: दिल्ली के लोगों को है भरोसा
मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा कि उनका उद्देश्य दिल्ली के लोगों को बेहतर और भ्रष्टाचारमुक्त शासन देना है। उनके अनुसार, “हमने हमेशा दिल्ली की जनता के लिए काम किया है और हम अपनी नीतियों से उनकी उम्मीदों पर खरे उतरने का प्रयास करेंगे।”
केजरीवाल ने अपने बयान में कहा कि इस चुनाव में उनका मुख्य फोकस शिक्षा, स्वास्थ्य, और बुनियादी ढांचे को सुधारने पर रहेगा। उन्होंने यह भी कहा कि दिल्ली में AAP का शासन और मजबूत होगा।
सपा और TMC का समर्थन क्यों महत्वपूर्ण है?
दिल्ली विधानसभा चुनाव में सपा और TMC का समर्थन AAP के लिए कई दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण है। सबसे पहले, यह AAP के लिए चुनावी मैदान में मजबूती का संकेत देता है। दोनों विपक्षी पार्टियों का समर्थन AAP को सत्ता में बने रहने का एक और मौका देगा। इसके अलावा, दिल्ली के चुनावी मुद्दों पर इन दोनों पार्टियों के समर्थन से AAP को देशभर में एकजुटता का संदेश मिलेगा।
अखिलेश यादव और ममता बनर्जी की भूमिका
अखिलेश यादव और ममता बनर्जी ने दिल्ली विधानसभा चुनाव में AAP को समर्थन देकर यह संकेत दिया है कि उनका मकसद सिर्फ अपनी पार्टी की जीत नहीं, बल्कि एकजुट होकर दिल्ली की सियासत को प्रभावित करना है। अखिलेश यादव और ममता बनर्जी के समर्थन से AAP को उम्मीद है कि वह दिल्ली में सशक्त रूप से अपनी सरकार बना सकेगी।

दिल्ली विधानसभा चुनाव में सपा और TMC के समर्थन के बाद AAP का रुख अब और भी मजबूत हो गया है। इस चुनाव में अब देखना यह होगा कि AAP के लिए जनता का रुझान क्या रहता है और क्या वे एक बार फिर दिल्ली की सत्ता पर काबिज हो पाएंगे। आगामी 5 फरवरी को वोटिंग और 8 फरवरी को परिणाम की घोषणा होगी, जिससे दिल्ली की राजनीति का नया अध्याय शुरू होगा।
जानें अगली खबर के लिए जुड़े रहें और हमारे Website Sampurn Hindustan को फॉलो करें।