Tesla की भारत में एंट्री: क्या अमेरिका का जीरो टैरिफ फॉर्मूला मदद करेगा?
अमेरिकी सरकार और भारत के बीच व्यापारिक नीतियों को लेकर लगातार बातचीत हो रही है। इस बीच, Tesla की भारत में एंट्री को लेकर चर्चा तेज हो गई है। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की नई व्यापार नीति के तहत अमेरिका ने भारत पर Reciprocal Tariff लागू करने का प्रस्ताव रखा है। इसका असर भारत के ऑटोमोबाइल सेक्टर पर भी पड़ सकता है।
अमेरिका का जीरो टैरिफ प्रस्ताव
अमेरिका चाहता है कि भारत और अमेरिका के बीच व्यापार में कृषि उत्पादों को छोड़कर बाकी सभी सामानों पर Zero Tariff लागू किया जाए। इसका सीधा असर ऑटोमोबाइल इंडस्ट्री पर पड़ेगा, क्योंकि भारत में इस समय 110% तक की इम्पोर्ट ड्यूटी लागू है। यदि यह शुल्क हटा दिया जाता है, तो टेस्ला जैसी कंपनियों के लिए भारतीय बाजार में प्रवेश करना आसान हो जाएगा।
Tesla की भारत में एंट्री को क्यों है मुश्किल?
1. भारत में उच्च इम्पोर्ट ड्यूटी
Tesla की भारत में एंट्री में सबसे बड़ी बाधा भारत की ऊंची इम्पोर्ट ड्यूटी है। भारत में इम्पोर्टेड गाड़ियों पर 110% तक का शुल्क लगाया जाता है, जिससे टेस्ला की सबसे सस्ती इलेक्ट्रिक कार की कीमत भी लगभग दोगुनी हो जाती है।
2. लोकल ऑटोमोबाइल कंपनियों की चिंता
टाटा मोटर्स और महिंद्रा जैसी भारतीय कंपनियां सरकार से इम्पोर्ट ड्यूटी बनाए रखने की मांग कर रही हैं। इनका मानना है कि अगर यह शुल्क हटाया जाता है, तो सस्ती विदेशी इलेक्ट्रिक गाड़ियां बाजार पर हावी हो जाएंगी और स्थानीय उद्योगों को नुकसान होगा।
क्या भारत सरकार टेस्ला के लिए इम्पोर्ट ड्यूटी कम करेगी?
भारत सरकार पूरी तरह से Zero Tariff नीति को अपनाने के लिए तैयार नहीं है। हालांकि, सरकार धीरे-धीरे कुछ ऑटोमोबाइल पर इम्पोर्ट ड्यूटी कम करने पर विचार कर रही है। पिछले कुछ महीनों में भारत सरकार ने लग्जरी गाड़ियों पर कुछ राहत देने के संकेत भी दिए हैं।
भारत-अमेरिका व्यापार समझौते का असर
1. द्विपक्षीय व्यापार लक्ष्य
भारत और अमेरिका ने 2030 तक द्विपक्षीय व्यापार को 500 अरब डॉलर तक पहुंचाने का लक्ष्य रखा है। इसके तहत दोनों देशों के बीच व्यापार समझौते की बातचीत जारी है, जिसमें टैरिफ विवाद को हल करने के प्रयास किए जा रहे हैं।
2. Tesla की भारत में तैयारी
भले ही भारत में इम्पोर्ट ड्यूटी को लेकर असमंजस बना हुआ है, लेकिन Tesla ने भारत में अपना पहला शोरूम साइन कर लिया है और बड़े शहरों में हायरिंग भी शुरू कर दी है। इससे साफ है कि टेस्ला भारतीय बाजार में प्रवेश के लिए पूरी तरह तैयार है।
क्या Tesla की भारत में एंट्री होगी आसान?
अमेरिका की Zero Tariff नीति और भारत की इम्पोर्ट ड्यूटी में संभावित कटौती से Tesla की भारत में एंट्री की संभावना बढ़ गई है। हालांकि, भारत सरकार पूरी तरह से इम्पोर्ट ड्यूटी हटाने के पक्ष में नहीं है, लेकिन आने वाले महीनों में इसमें कुछ राहत मिल सकती है। अगर यह बदलाव लागू होता है, तो भारतीय ग्राहकों को टेस्ला की इलेक्ट्रिक गाड़ियां सस्ती कीमत पर मिल सकती हैं।