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Toggleदिल्ली के स्कूलों में शीतकालीन अवकाश: 1 से 15 जनवरी तक छुट्टियां
दिल्ली सरकार ने 2025 में राजधानी के सरकारी स्कूलों के लिए शीतकालीन अवकाश (Winter Vacation) का ऐलान कर दिया है। शिक्षा निदेशालय की ओर से जारी निर्देशों के मुताबिक, दिल्ली के सभी सरकारी स्कूलों में सर्दियों की छुट्टियां 1 जनवरी से 15 जनवरी तक रहेंगी। हालांकि, कक्षा 9 से 12वीं तक के छात्रों को बोर्ड परीक्षा की तैयारियों के लिए विशेष क्लासेस लेने की आवश्यकता होगी।
1 से 15 जनवरी तक स्कूलों में शीतकालीन अवकाश
शीतकालीन अवकाश के दौरान, दिल्ली के स्कूलों में नियमित कक्षाएं नहीं होंगी। यह 15 दिन का अवकाश छात्रों को आराम करने और सर्दी का आनंद लेने का मौका देगा। लेकिन कक्षा 9 से 12वीं तक के छात्र, जो अगले साल बोर्ड परीक्षा में बैठेंगे, उनके लिए कुछ विशेष व्यवस्था की गई है।
9वीं से 12वीं तक के छात्रों के लिए रेमेडियल क्लासेस (Remedial Classes)
दिल्ली सरकार ने कक्षा 9 से 12 तक के छात्रों के लिए शीतकालीन अवकाश के दौरान रेमेडियल क्लासेस (Remedial Classes) आयोजित करने का निर्णय लिया है। इन क्लासेस का उद्देश्य छात्रों को अपनी बोर्ड परीक्षाओं की तैयारी को लेकर किसी भी तरह की कमी को दूर करना है। खासकर, कक्षा 9 और 11 के छात्रों के लिए यह जरूरी किया गया है कि वे अंग्रेजी, गणित और विज्ञान जैसे प्रमुख विषयों में रेमेडियल क्लासेस में शामिल हों।
9वीं और 11वीं कक्षा के छात्रों के लिए विशेष व्यवस्था
कक्षा 9 और 11 के छात्रों के लिए निर्धारित किया गया है कि वे हर दिन अंग्रेजी, गणित और विज्ञान के विषयों की रेमेडियल क्लासेस में भाग लें। इन कक्षाओं में विशेष तौर पर छात्रों को इन विषयों पर अधिक ध्यान केंद्रित किया जाएगा, ताकि उनकी बोर्ड परीक्षाओं की तैयारी बेहतर हो सके। इस उद्देश्य से 10 दिनों तक रेमेडियल क्लासेस आयोजित की जाएंगी।
10वीं और 12वीं कक्षा के छात्रों के लिए पठन-पाठन की विशेष व्यवस्था
कक्षा 10 और 12 के छात्रों के लिए बोर्ड परीक्षाओं की तैयारी को और भी मजबूत बनाने के लिए शिक्षा निदेशालय ने एक विशेष पठन-पाठन योजना बनाई है। इनमें प्रमुख रूप से प्री-बोर्ड परीक्षाओं का पुनरीक्षण और उन विषयों पर विशेष ध्यान दिया जाएगा जिनमें छात्रों को कमजोरी महसूस हो रही है। छात्रों को डेली बेसिस पर क्लासेज की सुविधा दी जाएगी, ताकि वे बोर्ड परीक्षा की तैयारी में किसी भी तरह की कमी महसूस न करें।
शीतकालीन अवकाश के दौरान छात्रों के लिए रेमेडियल क्लासेस का महत्व
इस बार की शीतकालीन छुट्टियों में रेमेडियल क्लासेस की पहल से छात्रों को न केवल समय का सदुपयोग करने का मौका मिलेगा, बल्कि वे अपनी कमजोरियों पर भी काम कर सकेंगे। दिल्ली सरकार का यह कदम छात्रों को उनकी आगामी बोर्ड परीक्षाओं के लिए तैयार करने में मदद करेगा।
रेमेडियल क्लासेस के लिए नियमों का पालन अनिवार्य
छात्रों को इन रेमेडियल क्लासेस में भाग लेने के लिए कुछ नियमों का पालन करना होगा। सबसे महत्वपूर्ण नियम यह है कि सभी छात्रों को स्कूल की निर्धारित ड्रेस में क्लासेज में उपस्थित होना होगा। साथ ही, छात्रों को पहले से ही एसएमएस के माध्यम से क्लासेस का शेड्यूल बताया जाएगा, ताकि वे सही समय पर क्लास में शामिल हो सकें। इन क्लासेस में शामिल होना सभी छात्रों के लिए अनिवार्य किया गया है।
छात्रों को स्कूल अधिकारियों से जानकारी प्राप्त करनी होगी
स्कूल अधिकारियों को छात्रों को उनके रेमेडियल क्लासेस के समय और तारीख की जानकारी पहले ही देनी होगी, ताकि कोई भी छात्र इन कक्षाओं से चूक न जाए। शिक्षा निदेशालय ने यह सुनिश्चित किया है कि छात्रों को सही दिशा-निर्देश दिए जाएं, ताकि वे अपनी बोर्ड परीक्षा की तैयारी में कोई कसर न छोड़ें।
उम्मीद की जा रही है कि शीतकालीन छुट्टियां छात्रों के लिए होंगी फायदेमंद
इस विशेष योजना के तहत, 9वीं से 12वीं तक के छात्रों को शीतकालीन अवकाश का भी पूरा फायदा मिलेगा, लेकिन साथ ही साथ वे अपनी तैयारी भी कर पाएंगे। इस पहल के माध्यम से शिक्षा निदेशालय ने यह सुनिश्चित किया है कि छात्रों को अपनी पढ़ाई में मदद मिल सके, ताकि वे आगामी बोर्ड परीक्षा में अच्छे परिणाम प्राप्त कर सकें।
इस कदम से दिल्ली सरकार की शिक्षा प्रणाली में बदलाव
दिल्ली सरकार की यह पहल शिक्षा के क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण बदलाव की दिशा में एक कदम है। यह छात्रों को उनकी कमजोरियों पर काम करने और अपनी तैयारी को सही दिशा में ले जाने का मौका देती है। शिक्षा निदेशालय ने इस कदम को छात्रों के लिए एक सकारात्मक बदलाव माना है, जो उनकी पढ़ाई में और अधिक सुधार ला सकेगा।
दिल्ली के स्कूलों में 1 से 15 जनवरी तक शीतकालीन अवकाश की घोषणा की गई है, लेकिन कक्षा 9 से 12वीं तक के छात्रों के लिए यह अवकाश कुछ खास होगा। छात्रों को अपनी बोर्ड परीक्षा की तैयारी को मजबूती देने के लिए रेमेडियल क्लासेस का आयोजन किया जाएगा। छात्रों को इन क्लासेस में भाग लेने के लिए नियमों का पालन करना होगा और शिक्षा निदेशालय ने यह सुनिश्चित किया है कि छात्रों को बेहतर तैयारी के लिए सभी जरूरी संसाधन मिलें।
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