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Sunday, February 23, 2025

बीकानेर में सरकारी स्कूल हादसा: वॉटर टैंक में गिरने से तीन छात्राओं की मौत, परिजनों का हंगामा

बीकानेर में सरकारी स्कूल हादसा: वॉटर टैंक में गिरने से तीन छात्राओं की मौत

सरकारी स्कूल हादसा
सरकारी स्कूल हादसा

बीकानेर के नोखा क्षेत्र में एक सरकारी स्कूल हादसा दिल दहला देने वाला साबित हुआ। 6 से 8 साल की तीन छात्राओं की स्कूल परिसर में बने 20 फीट गहरे वॉटर टैंक में गिरने से मौत हो गई। इस दर्दनाक घटना से पूरे इलाके में आक्रोश फैल गया और परिजनों व ग्रामीणों ने जोरदार प्रदर्शन किया।

घटना कैसे हुई?

यह हादसा मंगलवार को देवनादा केदली गांव के एक सरकारी स्कूल में हुआ। छात्राएं स्कूल परिसर में खेल रही थीं, तभी वे अचानक टैंक में गिर गईं। स्कूल प्रशासन की लापरवाही के चलते उन्हें समय पर बचाया नहीं जा सका, जिससे उनकी मौत हो गई।

परिजनों और ग्रामीणों का आक्रोश

घटना के बाद मृतक छात्राओं के परिजनों और गांववालों ने मर्चरी के बाहर प्रदर्शन शुरू कर दिया। उनका कहना है कि जब तक दोषियों को गिरफ्तार नहीं किया जाता और सख्त कार्रवाई नहीं होती, तब तक वे शवों का अंतिम संस्कार नहीं करेंगे।

परिजनों की मांगें:

  • दोषी अधिकारियों की तत्काल गिरफ्तारी हो
  • स्कूल प्रशासन पर सख्त कार्रवाई हो
  • पीड़ित परिवारों को उचित मुआवजा मिले
  • स्कूलों में सुरक्षा उपायों को सख्त किया जाए

सांसद हनुमान बेनीवाल का समर्थन

प्रदर्शन को और मजबूती तब मिली जब नागौर के आरएलपी सांसद हनुमान बेनीवाल मौके पर पहुंचे। उन्होंने कहा कि यदि प्रशासन ने उचित कार्रवाई नहीं की, तो वे जिला कलेक्टर कार्यालय का घेराव करेंगे।

लापरवाही के गंभीर आरोप

ग्रामीणों का कहना है कि यह सरकारी स्कूल हादसा स्कूल निर्माण में लापरवाही और घटिया सामग्री के इस्तेमाल का नतीजा है। अगर समय रहते सुरक्षा उपाय किए गए होते, तो इस त्रासदी को रोका जा सकता था।

स्कूल प्रशासन की बड़ी चूक:

✅ टैंक को खुला छोड़ दिया गया था
✅ स्कूल में सुरक्षा कर्मियों की कमी
✅ बचाव के लिए कोई आपातकालीन सुविधा नहीं

प्रशासन की प्रतिक्रिया

पुलिस ने बुधवार रात को इस मामले में एफआईआर दर्ज कर ली है। प्रशासन का कहना है कि दोषियों की पहचान कर जल्द से जल्द कड़ी कार्रवाई की जाएगी।

बीकानेर का सरकारी स्कूल हादसा एक बार फिर से सरकारी स्कूलों की सुरक्षा व्यवस्था पर सवाल खड़े करता है। प्रशासन को जल्द से जल्द जिम्मेदारों को सजा देनी चाहिए और भविष्य में इस तरह की घटनाओं को रोकने के लिए ठोस कदम उठाने चाहिए।

और पढ़ें: THE World Reputation Rankings 2025: भारतीय विश्वविद्यालयों की रैंकिंग में गिरावट, IISc शीर्ष पर

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