बीपीएससी प्रदर्शन में साजिश: पटना पुलिस ने दिल्ली के ट्यूटर रोहित को हिरासत में लिया , पुलिस जांच में

बीपीएससी (बिहार लोक सेवा आयोग) 70वीं संयुक्त प्रतियोगिता परीक्षा को लेकर पटना में हाल ही में हो रहे विरोध प्रदर्शन के दौरान एक नया मोड़ सामने आया है। छात्रों के इस प्रदर्शन के पीछे की साजिश का पर्दाफाश करने के लिए पटना पुलिस ने दिल्ली से एक ट्यूटर को हिरासत में लिया है। इस मामले में गंभीर आरोप लगाए गए हैं और पुलिस विभिन्न सूत्रों की पड़ताल कर रही है, जिससे यह पता लगाया जा सके कि प्रदर्शन के पीछे किन ताकतों का हाथ है। इस लेख में हम इसी मुद्दे की गहरी पड़ताल करेंगे और उन घटनाक्रमों पर विचार करेंगे, जिन्होंने राज्य भर में जनाक्रोश को जन्म दिया।

बीपीएससी प्रदर्शन में साजिश
बीपीएससी प्रदर्शन में साजिश

बीपीएससी प्रदर्शन का विवाद: क्यों उठा विवाद?

बीपीएससी 70वीं संयुक्त प्रतियोगिता परीक्षा को लेकर 13 दिसंबर 2024 से छात्रों का प्रदर्शन जारी है। छात्रों का मुख्य आरोप है कि परीक्षा प्रक्रिया में गड़बड़ी हुई है, जिसके चलते पारदर्शिता प्रभावित हुई है। पटना के बीपीएससी कार्यालय के बाहर हो रहे इस प्रदर्शन के दौरान छात्रों ने अपनी मांगों को लेकर आवाज उठाई, लेकिन पिछले कुछ दिनों से हालात बिगड़ते जा रहे हैं। प्रदर्शनकारी छात्रों ने आरोप लगाया है कि उन्हें पुलिस द्वारा “आतंकियों” की तरह पेश किया गया और इस दौरान कई छात्र घायल हुए हैं। अधिकारियों द्वारा इन आरोपों को खारिज करने के बावजूद राज्य में विरोध की आग बढ़ती ही जा रही है।

गिरफ्तार किया गया ट्यूटर रोहित: क्या है आरोप?

पटना पुलिस ने दिल्ली के एक ट्यूटर रोहित को गिरफ्तार किया है, जिसके खिलाफ छात्रों को उकसाने और उनकी गतिविधियों को संगठित करने के आरोप हैं। रोहित को यह मानते हुए हिरासत में लिया गया है कि वह प्रदर्शनकारियों के साथ एक बड़ी साजिश में शामिल है। प्रारंभिक जांच के अनुसार, रोहित ने छात्रों के एक समूह को एक साथ लाने और उनकी मांगों को मजबूत करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। पटना के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक राजीव मिश्रा के अनुसार, रोहित और अन्य लोगों की गतिविधियां अत्यधिक संगठित थीं, और ऐसे संकेत मिल रहे हैं कि प्रदर्शन के पीछे किसी बड़ी साजिश का हाथ है।

पुलिस की साजिश का शक और आर्थिक फंडिंग की जांच

पुलिस इस मामले में विभिन्न कोणों से जांच कर रही है और यह पता लगाने का प्रयास कर रही है कि रोहित और अन्य लोगों को फंडिंग कहां से मिल रही है। SSP मिश्रा ने यह भी बताया कि आर्थिक अपराध इकाई (EOU) को इस मामले में प्रारंभिक रिपोर्ट भेजी जाएगी। यह साजिश न सिर्फ बिहार के अंदर बल्कि बाहर से भी संचालित हो रही है, और इसका एक सूत्र केन्द्रीय स्तर पर जुड़ा हुआ हो सकता है। साथ ही, पुलिस यह भी पता लगाने का प्रयास कर रही है कि राज्य के बाहर से आने वाले छात्रों को कैसे प्रोत्साहित किया गया है और किस स्रोत से वित्तीय मदद मिल रही है।

प्रदर्शनकारियों का उत्पीड़न: पुलिस कार्रवाई और विरोध

बीपीएससी
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बीपीएससी परीक्षा को रद्द करने की मांग को लेकर 13 दिन से चल रहे प्रदर्शन के दौरान पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच तनाव बढ़ता गया। बुधवार, 25 दिसंबर 2024 को पुलिस ने प्रदर्शनकारियों पर लाठीचार्ज किया था, जिससे कई छात्र घायल हो गए थे। इस घटना के बाद, विभिन्न विरोधी दलों और समाजिक कार्यकर्ताओं ने पुलिस की कार्रवाई की निंदा की है। फेमस व्लॉगर गुरु रहमान सहित अन्य लोग प्रदर्शन में शामिल होकर छात्रों का समर्थन कर रहे हैं। विरोध में कांग्रेस और राजद जैसे प्रमुख दलों ने भी सरकार की नीतियों की आलोचना की है और पुलिस कार्रवाई को गलत ठहराया है।

विपक्ष की प्रतिक्रिया और भविष्य के कदम

विपक्षी नेताओं ने इस मुद्दे को लेकर नीतीश कुमार सरकार पर कड़ी आलोचना की है। पूर्णिया के सांसद पप्पू यादव ने इस संबंध में बिहार बंद का आह्वान किया है, यदि 13 दिसंबर की परीक्षा रद्द नहीं होती है। वहीं, राजद नेता तेजस्वी यादव ने नीतीश कुमार पर तानाशाही रवैया अपनाने का आरोप लगाया है और कहा है कि छात्रों के प्रति यह सरकार अत्यधिक हिंसक व्यवहार कर रही है। विपक्ष का यह बयान बिहार की राजनीतिक स्थिति को और जटिल बना रहा है, जिससे समस्या का समाधान और उलझता जा रहा है।

साजिश के क्या संकेत मिल रहे हैं?

प्रारंभिक जांच के अनुसार, पुलिस को संकेत मिले हैं कि प्रदर्शन के पीछे एक सुनियोजित साजिश चल रही है, जिसमें विभिन्न स्तरों पर मदद और समर्थन दिया जा रहा है। सूत्रों के अनुसार, रोहित के अलावा और भी ऐसे लोग शामिल हो सकते हैं, जिन्होंने छात्रों को एकत्रित किया और उन्हें आगे बढ़ने में मदद की। इसमें राज्य के बाहर से आए लोगों की फंडिंग और समर्थन की व्यवस्था शामिल है, जो आश्चर्यजनक रूप से बड़े पैमाने पर दिख रही है। इस साजिश की तह तक जाने के लिए, पुलिस ने विभिन्न जगहों पर तलाशी अभियान भी चलाए हैं।

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बीपीएससी परीक्षा के रद्द होने की मांग को लेकर चल रहे छात्रों के प्रदर्शन के पीछे की साजिश का पर्दाफाश करने के लिए पटना पुलिस सक्रिय है। दिल्ली के ट्यूटर रोहित को हिरासत में लेकर विभिन्न गंभीर आरोप लगाए गए हैं। साथ ही, आर्थिक मदद और बाहर से समर्थन की पड़ताल की जा रही है, जिससे यह स्पष्ट होता है कि इस विरोध प्रदर्शन को एक अच्छी तरह से योजनाबद्ध तरीके से संचालित किया जा रहा है। बिहार की वर्तमान राजनीतिक स्थिति अत्यंत संवेदनशील है और इस समस्या का समाधान करना फिलहाल चुनौतीपूर्ण प्रतीत होता है। सरकार को अब इस मुद्दे का समाधान करने और छात्रों की मांगों को सुने जाने की दिशा में ठोस कदम उठाने की आवश्यकता है।

 

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