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Saturday, July 5, 2025
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‘ऑपरेशन सिंदूर’ पर विरोध जताने वाले कोलंबिया के बदले सुर, वापस लिया पाकिस्तान के समर्थन वाला बयान!

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भारत द्वारा ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के माध्यम से कई पाकिस्तानी आतंकियों को ढेर किया था। पहलगाम हमले के बाद ऑपरेशन सिंदूर के तहत पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में 9 आतंकवादी ठिकानों और उनके मुख्य एवं लॉन्च पेड्स को निशाना बनाया था। भारत की जवाबी कार्रवाई में करीब 100 से अधिक आतंकवादी मारे गए थे। इस दौरान कोलंबिया ने पाकिस्तान के प्रति सवेंदना जताई थी, साथ ही उन्होंने ऑपरेशन सिंदूर को गलत बताते हुए पाकिस्तान का समर्थन किया था। हालांकि अब ऑपरेशन सिंदूर का विरोध जताने वाले कोलंबिया के सुर बदल गए हैं और उसने पाकिस्तान के समर्थन वाला बयान वापस ले लिया है। जी हां.. इसे भारत की कूटनीति और शशि थरूर के आक्रामकता की जीत बताई जा रही है। तो चलिए जानते हैं क्या है पूरा मामला?

ऐसा क्या हुआ जो बदल गया कोलंबिया?
दरअसल, बात यह है कि सर्वदलीय शिष्टमंडल मॉडल का नेतृत्व करने वाले कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने कोलंबिया के संवेदना वाले बयान पर निराशा जाहिर की थी। गौरतलब है कि, 22 अप्रैल को पहलगाम में अचानक हमले में हुए करीब 26 पर्यटकों की जान ले ली गई थी जिसमें कई लोग घायल हुए थे। इसी का जवाब देने के लिए भारतीय सैन्य की तरफ से ऑपरेशन सिंदूर की पहल की गई और इसके माध्यम से कई पाकिस्तानी आतंकवादियों को खत्म कर दिया। इस पर कोलंबिया ने पाकिस्तान का साथ दिया था और ऑपरेशन सिंदूर की आलोचना की थी, लेकिन अब कोलंबिया अचानक से बदल गया है।

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क्या बोले शशि थरूर?
इस बात का खुलासा खुद शशि थरूर ने किया। दरअसल उन्होंने समाचार एजेंसी एएनआई से बातचीत करते हुए कोलंबिया के बारे में बात की। उन्होंने अपने बयान में कहा कि, “कोलंबिया की उप विदेश मंत्री रोजा योलांडा ने बहुत ही गरिमामय तरीके से इस बात का जिक्र किया कि हमारी ओर से चिंता जाहिर करने के बाद पाकिस्तान के प्रति संवेदना जताने वाले बयान को कोलंबिया ने वापस ले लिया है। इस पूरे मामले पर कोलंबिया अब हमारे रुख को पूरी तरह से समझता है। यह वास्तव में बहुत महत्व रखता है।”

शशि थरूर ने कहा कि, “हम अपने कोलंबियाई मित्रों से कहना चाहेंगे कि जो आतंकवाद फैलाते हैं और जो उसका प्रतिरोध करते हैं, उनके बीच कोई समानता नहीं हो सकती। जो हमला करते हैं और जो रक्षा करते हैं, उनके बीच कोई तुलना नहीं हो सकती। हम केवल आत्मरक्षा के अधिकार का प्रयोग कर रहे हैं, और यदि इस पर कोई गलतफहमी है, तो हम उसे दूर करने के लिए तैयार हैं।”

डेलिगेशन के लिए शशि थरूर को ही क्यों चुना?
बता दें, पहलगाम में 26 लोगों की हत्या और ऑपरेशन सिंदूर के बाद पाकिस्तान और भारत के बीच तनातनी का माहौल है। भारत का दृष्टिकोण विश्व के सामने रखने और आतंकवाद के खिलाफ नो टॉलरेंस की नीति को स्पष्ट करने के लिए ही भारत सरकार प्रमुख साझेदार देशों में प्रतिनिधिमंडल भेज रही है। इसका मुख्य उद्देश्य यह है कि भारत की स्थिति को पूर्ण रूप से स्पष्ट किया जाए। ऐसे में सरकार ने विपक्षी पार्टियों से प्रतिनिधि मंडल के लिए नेताओं के नाम मांगे थे। इनमें से एक शशि थरूर का नाम चुना गया।

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कूटनीति के बड़े जानकार शशि थरूर
संयुक्त राष्ट्र में काम करने का लंबा अनुभव रखने वाले शशि थरूर का नाम अक्सर सुर्खियों में रहा है। शशि थरूर कूटनीति के बड़े जानकार कहे जाते हैं। ऐसे में पाकिस्तान को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर बेनकाब करने में उनका एक अहम रोल हो सकता है। इसके अलावा भी शशि थरुर को इसमें शामिल करने के कई कारण है। शशि थरूर को लेकर अक्सर ये कहा जाता है कि वह कूटनीति के अच्छे जानकार है, वह भलीभांति इस बात को जानते हैं कि किस देश की क्या फितरत है और उसे कैसे जवाब दिया जा सकता है। शशि रूस यूक्रेन युद्ध के मुद्दे पर मोदी सरकार की कूटनीति की भी तारीफ कर चुके हैं। ख़ास बात ये है कि, अब इसका असर दिख भी रहा है।

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अयोध्या: जल शक्ति मंत्री स्वतंत्र देव सिंह ने नैपुरा पम्पिंग स्टेशन के निर्माण कार्य का किया शिलान्यास!

Swatantra Dev Singh
  1. जल शक्ति मंत्री ने नैपुरा पम्पिंग स्टेशन के निर्माण कार्य का किया शिलान्यास।
  2. जलशक्ति मंत्री ने 12 परियोजनाओं जिनकी लागत रू. 7476.30 लाख का किया शिलान्यास एवं 07 परियोजनाएं कुल लागत 3350.41 लाख का किया लोकार्पण।

सचिन मलिक, अयोध्या: उत्तर प्रदेश के जलशक्ति मंत्री स्वतंत्र देव सिंह ने आज जनपद अयोध्या के रौनाही तटबंध में किमी 13.350 पर नैपुरा पम्पिंग स्टेशन के निर्माण कार्य सहित अन्य विभागीय 11 परियोजनाओं कुल लागत 7476.30 लाख का शिलान्यास एवं 07 परियोजनाओं कुल लागत 3350.41 लाख का लोकार्पण किया गया।

क्या बोले जल मंत्री स्वतंत्र देव सिंह?
जल शक्ति मंत्री ने कहा कि सरयू/घाघरा नदी के दायें तट पर निर्मित रौनाही तटबन्ध के किमी 13.350 पर नैपुरा पम्पिंग स्टेशन के निर्माण कार्य का शिलान्यास करने का अवसर प्राप्त हुआ है। इसके साथ जनपद अयोध्या में कुल 12 अद्द सिंचाई, बाढ़ तथा राजकीय नलकूपों के निर्माण कार्यों का शिलान्यास किया जा रहा है। जिनकी कुल लागत रू. 7476.30 लाख है। शिलान्यास की परियोजनाओं के पूर्ण होने के पश्चात् लगभग 10 लाख कृषकों तथा जन सामान्य को सिंचाई सुविधाओं का लाभ मिलेगा, आवागमन हेतु नये पुल उपलब्ध होंगे तथा बाढ़ से बचाव होगा। साथ ही साथ हजारों हेक्टेयर कृषि भूमि पर फसलों की सुरक्षा सुनिश्चित होगी तथा लगभग 50 करोड़ रूपये प्रतिवर्ष होने वाली फसलों की क्षति को रोका जा सकेगा, जिससे किसानों को 50 करोड़ रूपये का प्रतिवर्ष लाभ होगा।

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इन कार्यों का भी किया गया लोकार्पण
मंत्री स्वतंत्र देव सिंह ने कहा कि शिलान्यास के साथ साथ आज अयोध्या में 07 अद्द पूर्ण सिंचाई तथा बाढ़ कार्याे का लोकार्पण किया गया, जिनकी कुल लागत रू. 3350.41 लाख है। इन परियोजनाओं के पूर्ण हो जाने से लगभग 05 लाख कृषकों तथा जन सामान्य को सिंचाई सुविधाओं का लाभ मिलेगा। साथ ही साथ हजारों हेक्टेयर कृषि भूमि पर फसलों की सुरक्षा सुनिश्चित हुई तथा लगभग 30 करोड़ रू. प्रतिवर्ष होने वाली फसलों की क्षति को रोका जा सके, जिससे किसानों को रू. 30 करोड़ का प्रतिवर्ष लाभ हो रहा है। जनपद अयोध्या के तहसील रुदौली के अंतर्गत रौनाही तटबन्ध के आबादी के तरफ वर्षा काल में जल भराव के निराकरण हेतु ग्राम नैपुरा के समीप पम्पिंग स्टेशन स्थापित करने की परियोजना से रौनाही तटबन्ध के किमी. 13.350 पर रामशरनदासपुर ड्रेन की जल निकासी है।

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ये अतिथिगण रहे उपस्थित
पम्पिंग स्टेशन पर ड्रेन का कैचमेंट एरिया 5010 हेक्टेयर है। तटबन्ध के कन्ट्री साइड में लगभग 855.00 हे. भूमि बाढ़ अवधि में जल प्लावन से प्रभावित होती है, जो कि सुरक्षित होगी। परियोजना लागत रू. 1419.09 लाख की दिनांक 30.11.2021 को जल शक्ति मंत्री की अध्यक्षता में उत्तर प्रदेश राज्य बाढ़ नियंत्रण परिषद् की स्थायी संचालन समिति की 54वीं बैठक में स्वीकृत हुई। इस अवसर पर विधायक रुदौली रामचन्द्र यादव, विधायक बीकापुर डा. अमित सिंह चौहान, विधायक गोसाईगंज अभय सिंह सहित अन्य जनप्रतिनिधिगण व विभागीय अधिकारीगण उपस्थित रहे।

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प्रयागराज की पूर्व महापौर ने सर्राफा कारोबारी के परिवार को दिया 2.40 लाख का चेक, कैबिनेट मंत्री ने किया था आजीवन 10 हजार देने का वादा!

ashok agrawal
  1. प्रयागराज की पूर्व महापौर ने सर्राफा कारोबारी के परिवार को दिया 2.40 लाख का चेक।
  2. कैबिनेट मंत्री नन्द गोपाल गुप्ता नन्दी ने आजीवन दस हजार रूपए महीने आर्थिक मदद का किया था वादा।

सचिन मलिक, लखनऊ: उत्तर प्रदेश सरकार के औद्योगिक विकास मंत्री नन्द गोपाल गुप्ता नन्दी के वादे को पूरा करते हुए प्रयागराज की पूर्व महापौर अभिलाषा गुप्ता नन्दी ने गुरूवार की देर शाम अपने पुत्र नमन गुप्ता के साथ मऊरानीपुर के सर्राफा कारोबारी स्वर्गीय अशोक अग्रवाल के घर जाकर उनकी पत्नी नीलम अग्रवाल को नन्दी सेवा संस्थान की ओर से दस-दस हजार रूपए के 24 चेक दिए। परिवारजनों से मुलाकात कर कुशलक्षेम जाना। साथ ही हर सम्भव सहायता का आश्वासन दिया।

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अशोक अग्रवाल की पत्नी को दिए जा रहे हर महीने 10 हजार
13 जून 2021 को मामूली विवाद में मऊरानीपुर के सर्राफा कारोबारी अशोक अग्रवाल की गोली मार कर हत्या कर दी गई थी। उत्तर प्रदेश सरकार के औद्योगिक विकास मंत्री नन्द गोपाल गुप्ता नन्दी ने 27 जून 2021 को मऊरानीपुर जाकर मृतक सर्राफा कारोबारी के परिवारजनों से मुलाकात करते हुए सर्राफा कारोबारी की पत्नी को आजीवन 10 हजार रूपए आर्थिक सहायता दिए जाने एवं बिटिया की शादी में एक लाख रूपए दिए जाने का वादा किया था। तब से लेकर लगातार मंत्री नन्दी द्वारा सर्राफा कारोबारी स्वर्गीय अशोक अग्रवाल की पत्नी नीलम अग्रवाल को हर महीने 10 हजार रूपए का चेक दिया जा रहा है।

आजीवन आर्थिक मदद करने का उठाया बीड़ा
सर्राफा कारोबारी स्वर्गीय अशोक अग्रवाल की पत्नी नीलम अग्रवाल ने कहा कि यह धनराशि उनके परिवार के जीविकोपार्जन का बहुत बड़ा सहारा है। 2021 में घटित घटना के बाद से लगातार मंत्री नन्दी द्वारा परिवार को दस हजार रूपए महीने की आर्थिक सहायता दी जा रही है। नन्दी सेवा संस्थान द्वारा प्रदेश के कई परिवारों को हर महीने 10 हजार रूपए की आर्थिक सहायता दी जा रही है। मंत्री नन्दी ने प्रयागराज, कानपुर झांसी, गोरखपुर, प्रतापगढ़ के साथ ही प्रदेश के कई अन्य जनपदों में ऐसे कई परिवारों को आजीवन आर्थिक मदद करने का बीड़ा उठा रखा है. जिन्होंने घर की जिम्मेदारी सम्भालने वाले अपनों को खोया है। कोई घटना तो कोई दुर्घटना का शिकार हुआ है।

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पीड़ित परिवारों को हर महीने आर्थिक सहायता
मंत्री नन्दी ऐसे पीड़ित परिवारों को प्रत्येक महीने दस हजार रूपए की आर्थिक मदद देते हैं, जो पीड़ित परिवार के लिए एक मजबूत सहारा बनती है। इस अवसर पर प्रोफेसर मनोज कुमार गुप्ता, डॉ. अनूप गुप्ता, सीताराम बिलैया, नरेंद्र दमेले, गोपालदास दमेले, भगवानदास सेठ, राधारमण कथिल, मनीष बिलैया, अमित अग्रवाल, नमन अग्रवाल, गीता अग्रवाल, साधना अग्रवाल, नीलेश अग्रवाल, अनुपम चौबे, संजू सोनी, कुलदीप पटौरिया आदि मौजूद रहे।

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उत्तर प्रदेश के होमगार्ड्स मंत्री ने की विभागीय समीक्षा बैठक, लंबित प्रकरण के निस्तारण हेतु दिए निर्देश!

Dharamveer Prajapati
  1. उत्तर प्रदेश के होमगार्ड्स मंत्री ने की विभागीय समीक्षा बैठक।
  2. आवासीय एवं प्रशिक्षण हेतु बनने वाले भवन गुणवत्तापूर्ण एवं समय से पूर्ण कराये- धर्मवीर प्रजापति

सचिन मलिक, लखनऊ: उत्तर प्रदेश के होमगार्ड्स एवं नागरिक सुरक्षा राज्यमंत्री धर्मवीर प्रजापति ने आज होमगार्ड्स मुख्यालय में मण्डल/जिला स्तरीय अधिकारियों के साथ विभागीय समीक्षा की। उन्होंने होमगार्ड्स जवानों के चरित्र सत्यापन, निर्माण कार्यों, मृतक आश्रितों को मिलने वाली अनुग्रह राशि, मृतक आश्रित भर्ती एवं बैंक द्वारा देय बीमा राशि इत्यादि विषयों पर अद्तन स्थिति की जानकारी ली।

मंत्री धर्मवीर प्रजापति ने निर्देशित किया कि होमगार्ड्स जवानों के पुलिस वेरीफिकेशन में आ रही बाधाओं को दूर कराते हुए जल्द से जल्द सत्यापन करायें। उन्होंने कहा कि होमगार्ड्स जवानों के सारे प्रपत्र आनलाइन होने चाहिए, जिससे कि उन्हें इधर उधर न भटकना पड़े। उन्होंने निर्माणाधीन आवासीय एवं प्रशिक्षण संस्थानों की वर्तमान स्थिति के बारे में विस्तार से जनपदवार जानकारी ली और निर्माणाधीन कार्यों को गुणवत्तापूर्ण ढंग से समय से पूरा कराने के निर्देश दिये।

 Dharamveer Prajapati

लंबित प्रकरण के लिए दिए निर्देश
मंत्री धर्मवीर प्रजापति ने निर्देश दिये कि पांच साल से पुराने मृतक आश्रित भर्ती के प्रकरणों को यथाशीघ्र मुख्यालय भिजवाये, जिससे कि लंबित प्रकरणों का निस्तारण शीघ्र कराया जा सके। साथ ही उन्होंने होमगार्डस को मिलने वाली अनुग्रह राशि की अद्तन स्थिति के बारे में जानकारी ली और लंबित प्रकरण के निस्तारण हेतु निर्देश दिये। उन्होंने अयोग्य होमगार्डों के बारे में भी जानकारी ली और कहा कि नियमानुसार कार्यवाही करते हुए प्रकरणों का निस्तारण कराया जाए। उन्होंने अनुग्रह राशि के भुगतान में आ रही बैंक स्तर पर दिक्कतों का निस्तारण कराने के निर्देश दिये।

महाकुम्भ 2025 में सराहनीय कार्य हेतु अधिकारियों की प्रशंसा
प्रमुख सचिव होमगार्ड्स राजेश प्रताप सिंह ने महाकुम्भ 2025 में सराहनीय कार्य हेतु अधिकारियों की प्रशंसा की। उन्होंने निर्देश दिये कि कोई भी कार्य पेडिंग न रहे। समयबद्ध तरीके से मुख्यालय से जारी शासनादेशों का अनुपालन करते हुए लंबित प्रकरणों का निस्तारण कराये। कार्यालय में उपस्थित रहकर सभी प्रकरणों को स्वयं दिखवाये।डीजी होमगार्ड विजय मौर्य ने सभी अधिकारियों को अनुशासित ढंग से कार्य करने के निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि किसी भी परिस्थिति में होमगार्ड जवान का शोषण न हो। अधिकारी समय से कार्यालय में उपस्थित रहे और पूरी सावधानी एवं सतर्कता के साथ कार्य करें।

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मृतक के परिवार के लिए बने सहारा
बैठक में आईजी होमगार्ड्स विवेक कुमार सिंह, संतोष सुचारी, स्टाफ अफसर सहित अन्य विभागीय अधिकारी उपस्थित थे। मंत्री धर्मवीर प्रजापति ने आज अपने सरकारी आवास 10ए कालीदास पर मृतक होमगार्ड स्व. सत्येन्द्र प्रताप सिंह की आश्रित पत्नी किरन सिंह को आईडीबीआई बैंक द्वारा बीमा राशि कुल 35 लाख रूपये का चेक प्रदान किया। इसके अलावा विभाग द्वारा दी जानी वाली 05 लाख रूपये की अनुग्रह राशि भी मृतक होमगार्ड के आश्रित को दी जा चुकी है। उन्होंने कहा कि इस प्रकार कुल 40 लाख रूपये सहायता राशि ड्यूटी के दौरान आकस्मिक मृत्यु की स्थिति में उसके आश्रित को दिया जाता है। साथ ही मृतक के परिवार के एक व्यक्ति को नौकरी भी विभाग द्वारा दी जाती है। जिससे कि मृतक के परिवार का भरण पोषण आसानी से हो सके।

विदित हो कि होमगार्ड सत्येन्द्र प्रताप सिंह 16 मई 2024 को मटियारी चौराहा, लखनऊ पर ड्यूटी के दौरान अज्ञात वाहन द्वारा टक्कर मार दिये जाने के कारण वह गम्भीर रूप से घायल हो गये। चिकित्सालय ले जाने पर चिकित्सकों द्वारा उन्हें मृत घोषित किया गया।

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स्वामी लक्ष्मण दास अवधूत ट्रस्ट का 11वां अंतर्राष्ट्रीय सम्मेलन 2025 गंगोत्री में सफलतापूर्वक संपन्न!

Swami Laxman Das Avdhoot Trust

गंगोत्री, उत्तराखंड: स्वामी लक्ष्मण दास अवधूत ट्रस्ट का जलवायु परिवर्तन, आपदा प्रबंधन एवं विश्व शांति पर 11वां अंतर्राष्ट्रीय सम्मेलन 2025 का आयोजन 22-23 मई को श्री लक्ष्मण कुटिर, गंगोत्री, उत्तराखंड में सफलतापूर्वक किया गया। इस दो दिवसीय कार्यक्रम में मानवीय सेवा के साथ-साथ वैश्विक मुद्दों पर बौद्धिक विमर्श का संगम देखने को मिला।पहले दिन स्थानीय समुदाय को आवश्यक स्वास्थ्य सेवाएं प्रदान करने के लिए व्यापक चिकित्सा शिविरों का आयोजन किया गया।

आवश्यकताओं का समाधान
हिमालयन हॉस्पिटल जॉली ग्रांट, देहरादून के डॉ. मदन और उनकी समर्पित टीम द्वारा नेत्र शिविर का संचालन किया गया। साथ ही, एमसीडी अस्पताल, दिल्ली के वरिष्ठ चिकित्सा अधीक्षक (सेवानिवृत्त) डॉ. एन.पी. सिंह के नेतृत्व में एलोपैथिक शिविर और दिल्ली की डॉ. पूर्णिमा गुजराल द्वारा होम्योपैथिक शिविर का आयोजन किया गया। इन चिकित्सा पहलों से गंगोत्री क्षेत्र के अनेक रोगियों को लाभ मिला, जिससे दूरस्थ हिमालयी समुदाय की महत्वपूर्ण स्वास्थ्य आवश्यकताओं का समाधान हुआ। पर्यावरण संरक्षण पर भी पहले दिन गंगोत्री आश्रम परिसर में वृक्षारोपण अभियान के साथ प्रकाश डाला गया, जो संगठन की पारिस्थितिक स्थिरता के प्रति प्रतिबद्धता को रेखांकित करता है।

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इंटरनेशनल मेहमानों की ऑनलाइन वार्ता
दूसरे दिन जलवायु परिवर्तन, आपदा प्रबंधन और विश्व शांति पर केंद्रित 11वें अंतर्राष्ट्रीय सम्मेलन का औपचारिक शुभारंभ हुआ। कार्यक्रम की शुरुआत स्थानीय बच्चों द्वारा सांस्कृतिक प्रस्तुतियों के साथ हुई, जिसके बाद विभिन्न क्षेत्रों के प्रतिष्ठित वक्ताओं ने इन महत्वपूर्ण वैश्विक चुनौतियों पर अपने मूल्यवान दृष्टिकोण साझा किए। अमेरिका के ह्यूस्टन से श्री जोसफ पन्नॉली, मुरमंस्क रूस से जूलिया, कनाडा से एम एच सिद्दिकी तथा अमरकांत से स्वामी एकात्मानंद ने भी सम्मेलन में ऑनलाइन भाग लिया। अपने शैक्षिक पहुंच के हिस्से के रूप में, सम्मेलन ने आसपास के क्षेत्रों के विभिन्न स्कूलों के छात्रों को सहायता प्रदान की।

शामिल हुए 200 से अधिक संत
इस सम्मेलन में 200 से अधिक संतों, देश विदेश से आए युवा, उत्तराखंड के पुलिस अधिकारी तथा भारतीय-तिब्बत सीमा पुलिस के जवानों व अधिकारियों तथा लगभग 70 भक्तों की भागीदारी देखी गई। कार्यक्रम में श्री अरुण वत्तल सचिव और श्री एस.के. सक्सेना आयोजन समिति के अध्यक्ष के रूप में शामिल थे। सम्मेलन ने समकालीन चुनौतियों का समाधान करने के दशक लंबी परंपरा को सफलतापूर्वक बनाए रखा।

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वो एक्ट्रेस जिसने सरेआम शाहरुख़ खान को जड़ा थप्पड़, सेट पर पसर गया था सन्नटा, बोली- सबसे शर्मनाक काम…

priya gill

फिल्मों की दो कहानी होती है। एक वो जिसे हम पर्दे पर देख रहे होते हैं और दूसरी वो जो पर्दे के पीछे होती है। जी हां आपने अभी तक ऐसी कई फिल्मों में थप्पड़ कांड देखे होंगे जो काफी चर्चा में रहे, लेकिन शाहरुख खान को थप्पड़ मारना हर किसी के बस की बात नहीं। हालांकि हम यहां पर पर्दे की बात कर रहे हैं। एक ऐसी एक्ट्रेस जिसने शाहरुख खान को ऐसा जोरदार तमाचा मारा था कि पूरे सेट पर सन्नाटा पसर गया था। यह बात हम नहीं कह रहे हैं बल्कि खुद एक्ट्रेस ने इसका खुलासा किया था। तो चलिए जानते हैं कौन है यह एक्ट्रेस और आखिर यह पूरा मामला क्या है?

शाहरुख़ संग जोड़ी देख लोगों से खूब मिला प्यार
दरअसल, हम बात कर रहे हैं हिंदी सिनेमा की पापुलर एक्ट्रेस रह चुकी प्रिया गिल के बारे में। वह इंडस्ट्री को कई फिल्में दे चुकी है लेकिन पिछले दिनों से वह इंडस्ट्री से दूर है। प्रिया गिल ने शाहरुख खान के साथ फिल्म ‘जोश’ में भी काम किया था। दोनों की जोड़ी को काफी पसंद किया गया। यदि आपने फिल्म देखी हो तो आप आसानी से समझ जाएंगे की गाना ‘अपुन बोला तू मेरी लैला..’ के ठीक पहले प्रिया गिल शाहरुख खान को थप्पड़ मारती है और वह एकदम रियल थप्पड़ था। कहा जाता है कि थप्पड़ सीन को करने के बाद पूरे सेट पर सन्नाटा पसर गया था। खुद प्रिया गिल भी शर्म महसूस कर रही थी। हालांकि इस दौरान शाहरुख खान ने उनका हौसला बढ़ाया और एक को-एक्टर की तरह उनकी तारीफ की।

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क्या बोली प्रिया गिल?
इस बात का खुलासा खुद प्रिया गिल ने एक इंटरव्यू में किया था। उन्होंने कहा था कि, “मैं आपको बताऊंगी कि मेरे पूरे फिल्मी करियर में सबसे शर्मनाक काम वह था जब मैंने शाहरुख को थप्पड़ मारा था। जोश में मेरा और शाहरुख खान का एक गाना था, जिसकी शुरुआत में मुझे उन्हें थप्पड़ मारना था। हम गोवा में इस सीन के लिए कई री-टेक्स कर चुके थे और मंसूर मुझसे कह रहे थे, प्रिया, यह उस तरह की ताकत से नहीं आ रहा है कि लड़की उस पर गुस्सा हो जाए। मैंने कहती, अच्छा, ठीक है और मैं कोशिश करती रही। वहीं, शाहरुख ने मुझे कहा, ‘मुझे मारो…मारो।’ मंसूर ने भी बार-बार उन्हे मारने के लिए कह रहे थे और मुझे उन्हें जोर से मारना पड़ा। मैं खुद को रोक नहीं पाई। मैं इसे कभी नहीं भूल पाऊंगी।”

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आगे प्रिया ने बताया कि, “मुझे लगता है कि वहां पूरी तरह से सन्नाटा पसर गया था। हर कोई बस… कैमरा चलता रहा। मुझे लगता है कि निर्देशक रिएक्शन की वजह से कट कहना ही भूल गए थे। मुझे याद है कि केवी कैमरामैन ने मुझसे कहा था, लड़कियां तुमसे नफरत करने वाली हैं क्योंकि तुमने शाहरुख को मारा है। मुझे शाहरुख हमेशा से पसंद रहे हैं। जब मैं पढ़ रही थी तो मैं उन्हें टेलीविजन पर देखा करती थी। वह धारावाहिकों में आते थे और फिर वह एक बहुत बड़े स्टार बन गए। लेकिन ये कोई नहीं जानता है कि जिसे आप सोचते हैं और एक दिन उसी के साथ काम करने का मौका मिलेगा। मैं उनसे पूरी तरह से प्रभावित थी।”

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कैसा रहा प्रिया गिल का करियर?
बात करें प्रिया गिल के करियर के बारे में तो 9 अप्रैल 1977 को जन्मी प्रिया गिल ने फिल्म ‘तेरे मेरे सपने’ से अपने करियर की शुरुआत की। यह फिल्म 1996 में रिलीज हुई थी जिसमें वह अभिनेता अरशद वारसी के साथ नजर आई थी। इस फिल्म में उन्हें काफी पसंद किया गया। इसके बाद उन्हें ‘दिल दीवाना माने ना’ में काम करने का मौका मिला लेकिन प्रिया गिल को सबसे ज्यादा सफलता फिल्म ‘सिर्फ तुम’ से हासिल हुई जो साल 1999 में आई थी। इस फिल्म में वह संजय कपूर के ऑपोजिट दिखाई दी थी। फिल्म के गाने ‘पहली पहली बार मोहब्बत की है।।’ खूब पॉपुलर हुआ था।

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अब कहाँ है प्रिया गिल?
इसके बाद उन्होंने फिल्म ‘जोश’ में काम किया जिसमें भी शाहरुख खान के साथ उनकी जोड़ी को काफी पसंद किया गया। फिर धीरे-धीरे प्रिया गिल बॉलीवुड इंडस्ट्री से दूर होते रही। इसी बीच उन्होंने साउथ फिल्मों में भी काम किया हालांकि वहां पर भी कुछ खास कमाल नहीं कर पाई। साफ तौर पर कहे तो फिल्म इंडस्ट्री में उनका केवल 10 साल का सफर रहा। आखिरी बार उन्हें साल 2006 में रिलीज हुई फिल्म ‘भैरवी’ में देखा गया था। इसके बाद वह इंडस्ट्री से गायब हो गई। मीडिया रिपोर्ट की माने तो वर्तमान में प्रिया गिल अपने परिवार के साथ विदेश में रहती है।

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आंखों के लिए कितनी नुकसानदायक है AC? हर रोज बैठने वाले इन खास बातों का रखें ख्याल, हो सकती है समस्याएं!

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गर्मी एक ऐसा मौसम है जिसमें हर कोई शीतल छाया की तलाश करता है लेकिन बदलते समय के अनुसार अब शीतल छाया की जगह लोगों के घरों में AC ने ले ली है। जी हां.. दिन ब दिन एयर कंडीशन का उपयोग बढ़ता जा रहा है। घर हो, ऑफिस हो गाड़ी हो या फिर हम किसी मॉल में खड़े हो, हर जगह आपको एयर कंडीशनर देखने को मिल जाएंगे। खैर एयर कंडीशनर गर्मियों में जितना अच्छा होता है उतना ही आंखों के लिए खराब भी होता है। ठंडी ठंडी हवा हमें बेशक अच्छी लगती है लेकिन यह स्वास्थ्य के लिए बहुत हानिकारक है और इसका असर हमें सबसे ज्यादा हमारी आंखों पर देखने को मिलता है। तो चलिए जानते हैं AC में रहने वाले लोगों की आंखों पर क्या प्रभाव पड़ता है?

दरअसल, हर दूसरे इंसान को AC में रहने की आदत हो गई है। ऐसे में उसे हर जगह एयर कंडीशनर की ही आवश्यकता होती है हालांकि एयर कंडीशनर की ठंडी हवा वातावरण को तो नमी कर देता है लेकिन आपकी आंखों की प्रकृति नमी सूखती है। जी हां आंखों की बाहरी सतह पर एक प्राकृतिक टियर फिल्म होती है जो उन्हें नमी प्रदान करती है लेकिन जब हवा में नमी कम हो जाती, तो यह टियर फिल्म जल्दी सूखने लगती है जिससे आपकी आंखों से जुड़ी परेशानियां होने लगती है। अधिकतर AC में रहने वाले लोगों को आंखों में जलन सूजन जैसी समस्या का सामना करना पड़ता है।

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दूर का कम दिखना
बता दें, जो लोग ज्यादातर AC की हवा लेते हैं उन्हें Tear Film की कमी होती है। दरअसल इससे रेटिना प्रभावित होता है और इमेज सही तरीके से फोकस नहीं कर पाती है जिसके कारण आपको धुंधला-धुंधला नजर आने लगता है और धीरे-धीरे आपको दूर का कम दिखाई देने लगता है।

आँखों में होती लालिमा, जलन
आपको ज्यादातर AC में रहने से ड्राई आई सिंड्रोम का भी सामना करना पड़ सकता है। दरअसल, लंबे समय तक स्क्रीन पर काम करने के कारण आपको ड्राई आई सिंड्रोम की समस्या हो सकती है। ड्राई आइस सिंड्रोम के कारण आपको सूखापन, लालिमा, जलन, खुजली जैसी परेशानी हो सकती है। ऐसे में कोशिश करें कि आप AC का थोड़ा कम इस्तेमाल करें और अपनी आंखों को हल्के ठंडे पानी से धोते रहे।

आँखों में रेत जैसा चुभना
यदि आप लंबे समय तक AC में रहते हैं तो आपको महसूस होगा कि आपकी आंखों में कुछ रेत जैसा चुप रहा है। जी हां यह अधिकतर AC की ठंडी हवा में रहने वाले लोगों के साथ होता है। ठंडी हवा सीधे आंखों से संपर्क बनाती है। यही वजह है कि आपकी आंखों में जलन शुरू हो जाती है या खुजली होने लगती है। ऐसी स्थिति में आपको एयर कंडीशनर से दूर रहना चाहिए या फिर आपको तुरंत डॉक्टर से मिलना चाहिए।

कंजेक्टिविटी का होना
AC में रहने वाले लोगों को कई तरह का इन्फेक्शन भी हो जाता है। दरअसल अगर सही समय पर एयर कंडीशनर का फिल्टर साफ ना किया जाए तो इसके हवा से बैक्टीरिया, फंगस जैसी बीमारी हो सकती है, साथ ही आपको आंखों में कंजेक्टिविटी इन्फेक्शन एलर्जी जैसी चीजों का भी सामना करना पड़ सकता है।

आंखों में ड्राइनेस
वही एक्सपर्ट्स का कहना है कि जो लोग ज्यादातर AC में रहते हैं उनकी आंखों में ड्राइनेस रहने पर कोरिया पर भी असर पड़ सकता है जिससे आपकी नजर कमजोर होने लगती है। ऐसे में वह लोग जो कॉन्टैक्ट लेंस पहनते हैं, उन्हें AC की हवा से ज्यादा सावधान रहने की जरूरत होती है।

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AC में रहने वाले किन लोगों को अधिक खतरा होता है?
दरअसल जो लोग कंप्यूटर या मोबाइल पर लंबे समय तक अपना काम करते हैं। ऐसे लोगों को AC का उपयोग थोड़ा कम करनी चाहिए बल्कि उन्हें बाहर के हवा भी लेना चाहिए। कोशिश करें कि आप कुछ देर के लिए प्रकृति के आसपास रहे। इसके अलावा जिन लोगों की उम्र 50 से ज्यादा हो गई है उन्हें भी ज्यादा AC में नहीं बैठना चाहिए, उन्हें भी किसी पार्क या फिर प्राकृतिक एरिया में बैठना चाहिए जिससे उनके शरीर को प्राकृतिक हवा मिल सके ना कि बनावटी ठंडक। इसके अलावा जो डायबिटीज और थायराइड के मरीज है उन्हें भी AC का कम ही उपयोग करना चाहिए।

आखिर AC की हवा से आंखों को कैसे बचाया जा सकता है?

  1. AC में बैठने के दौरान बेहतर हो कि आप AC की तरफ पीठ करके बैठे जिससे शुष्क हवा सीधे आपकी आंखों पर ना पड़े।
  2. इसके अलावा आप AC वाले कमरे में नमी बनाए रखने के लिए ह्यूमिडिफायर का इस्तेमाल करें। यदि यह नहीं है तो कमरे में एक बड़े बॉल में पानी डालकर हमेशा रखें।
  3. यदि आपको AC में बैठने से आंखों में जलन या चुभन हो रही है तो 20-20 मिनट अपनी आंखों को आराम दे।
  4. AC में रहने वाले लोगों को पानी का खास ख्याल रखना होता है, दरअसल पानी पीने से शरीर हाइड्रेट रहता है और आंखों की नमी बरकरार रहती है, ऐसे में आप पर्याप्त मात्रा में पानी पिए।
  5. इसके अलावा यदि आपको AC में बैठते ही अक्सर ड्राइनेस का सामना करना पड़ता है तो आप अपने डॉक्टर द्वारा सुझाई गई आई ड्रॉप का इस्तेमाल कर सकते हैं।

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मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में मोनाश विश्वविद्यालय, ऑस्ट्रेलिया के साथ एमओयू हस्तान्तरण!

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  1. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में मोनाश विश्वविद्यालय, ऑस्ट्रेलिया के साथ एमओयू हस्तान्तरण।
  2. मुख्यमंत्री के नेतृत्व में प्रदेश में शिक्षा क्षेत्र में व्यापक सुधार हुए हैं।
  3. प्रदेश में वैश्विक स्तर की उच्च शिक्षा उपलब्ध कराई जा रही है- उच्च शिक्षा मंत्री योगेन्द्र उपाध्याय

सचिन मलिक, लखनऊ: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में गुरुवार को 5 कालीदास मार्ग, लखनऊ में मोनाश विश्वविद्यालय, ऑस्ट्रेलिया और उत्तर प्रदेश सरकार के बीच समझौता ज्ञापन (एमओयू) का हस्तान्तरण हुआ।

इस मौके पर उच्च शिक्षा मंत्री योगेन्द्र उपाध्याय ने कहा कि शिक्षा और चिकित्सा मानव जीवन के लिए अत्यंत आवश्यक हैं और इनका गहरा संबंध आध्यात्मिक मूल्यों से भी जुड़ा होता है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के कुशल नेतृत्व में राज्य में हर क्षेत्र में अभूतपूर्व विकास हो रहा है। एक ओर जहां कानून व्यवस्था को सुदृढ़ किया गया है, वहीं शिक्षा के क्षेत्र में भी व्यापक सुधार और परिवर्तन सुनिश्चित किए गए हैं।

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उच्च शिक्षा मंत्री ने कहा कि प्राचीन भारत में तक्षशिला और नालंदा जैसे विश्वविद्यालय उच्च शिक्षा के महत्वपूर्ण केंद्र हुआ करते थे। मुख्यमंत्री का उद्देश्य यही है कि शिक्षा का लाभ समाज के अंतिम व्यक्ति तक पहुंचे और कोई भी बच्चा उच्च शिक्षा से वंचित न रहे।

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इस दिशा में योगी सरकार ने अनेक कदम उठाए हैं। उन्होंने कहा कि जो विद्यार्थी विदेश जाकर उच्च शिक्षा प्राप्त नहीं कर सकते थे, उनके लिए प्रदेश में ही विश्वविद्यालयों के सहयोग से शिक्षा केंद्र स्थापित किए गए हैं। इससे प्रदेश के बच्चों को अब बाहर जाने की आवश्यकता नहीं होगी और वे अपने ही राज्य में वैश्विक स्तर की उच्च शिक्षा प्राप्त कर सकेंगे।

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12वीं के बाद क्या करना है? इस सवाल से परेशान बच्चे रखें इन बातों का ख्याल, भविष्य में नहीं होगी कोई परेशानी!

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12वीं के बाद सबसे बड़ा यह सवाल होता है कि अब बच्चों को क्या करना चाहिए? रिश्तेदार से लेकर दोस्तों तक हर कोई यह सवाल पूछता है। इस सवाल से कुछ बच्चे परेशान भी हो जाते हैं। खैर यह बड़ा सवाल भी है कि आखिर 12वीं के बाद एक अच्छी नौकरी पाने के लिए क्या करना चाहिए? कई लोगों को ठीक से गाइडलाइन नहीं मिल पाती है जिसकी वजह से वह भटकते रहते हैं। आज हम आपको बताएंगे 12वीं के बाद एक अच्छी नौकरी पाने की कुछ ऐसे स्किल के बारे में जो आपके करियर के लिए बहुत लाभदायक होगी, साथ ही आपको सफलता दिलाने में भी यह मदद कर सकती है। तो चलिए जानते हैं कुछ आसान से टिप्स….।

डिजिटल दुनिया पर दे ध्यान
दरअसल, 12वीं के बाद आप अपनी कॉलेज पूरी करते रहें, साथ ही आप कंप्यूटर और डिजिटल कौशल पर भी ध्यान दें। जी हां.. आज का युग कंप्यूटर का युग कहा जाता है और बिना कंप्यूटर के किसी भी ऑफिस में वर्क करना अब मुश्किल हो गया है। आप किसी भी क्षेत्र में जाएंगे आपको बेसिक कंप्यूटर की जानकारी होना बहुत ही जरूरी होगी। ऐसे में आप माइक्रोसॉफ्ट, एक्सेल, गूगल Suit जैसी सुविधाएं सीखें और इस क्षेत्र में अपने आप को पहले से ही तैयार रखें। इसके अलावा आप वेब डेवलपमेंट, ग्राफिक डिजाइनिंग, डिजिटल मार्केटिंग की स्किल भी सीख सकते हैं जो आपके भविष्य को और भी सुनहरा करेगी और आपको रोजगार के ढेर सारे अवसर प्रदान करेगी।

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कम्युनिकेशन स्किल को करें बेहतर
आपकी कम्युनिकेशन स्किल बहुत अच्छी होनी चाहिए। जी हां.. किसी भी नौकरी को पाने के लिए आपका कम्युनिकेशन स्किल जितना अच्छा होगा आप उतने ही आगे बढ़ेंगे। साथ ही आप अपनी टीम को इंप्रेस कर सकेंगे। यदि आपको किसी टीम को हैंडल करना होगा तो आपका कम्युनिकेशन स्किल्स ही बहुत कुछ कर जाएगा। पेशेवर तरीके से अपनी बात रखना बहुत जरूरी होता है और यह जीवन में भी काफी लाभदायक होता है। न केवल नौकरी में बल्कि जीवन में भी इसे काफी अच्छा माना जाता है। मौखिक कम्युनिकेशन के साथ-साथ आपकी लिखित कम्युनिकेशन भी अच्छी होनी चाहिए। यदि आपकी कम्युनिकेशन स्किल अच्छी है तो कई मौके पर आप एक लीडर का काम कर सकते हैं साथ ही आपको एंकरिंग जैसी जॉब भी मिल सकती है जिससे अच्छी खासी कमाई होती है।

समस्याओं से घबराए ना
इसके अलावा आपके अंदर समस्याओं का हल ढूंढना की आदत होनी चाहिए। यानी की आपको हमेशा क्रिटिकल थिंकिंग और डिसीजन मेकिंग रहना चाहिए ताकि आपको किसी भी काम में परेशानी ना आए। आप जहां काम कर रहे हैं वहां मौजूद लोग भी आपसे अपनी राय ले, क्योंकि राय उसी से ली जाती है जिसके पास समस्याओं का हाल हो। कोई भी समस्या आने पर घबराए ना, इससे आप अच्छे लीडर बन सकते हैं।

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टीमवर्क पर करें फोकस
हमेशा टीमवर्क पर ध्यान दें शुरुआत में आप छोटे स्तर पर काम शुरू करें लेकिन धीरे-धीरे आपकी टीम बढ़ेगी ही। ऐसे में टीम को मैनेज करना और लीड करना आना यह सबसे जरूरी काम है। जल्द से जल्दी ऊंचे पद पर पहुंचने के लिए आपको लीडरशिप और टीमवर्क आना ही चाहिए। ऐसे में आप अपनी लीडरशिप स्किल पर ध्यान दें और टीम के साथ कैसे काम करना है यह जरूर सीखें। इसे न केवल आपको नौकरी बल्कि बिजनेस में भी अधिक सफलताहासिल होगी।

समय का सही उपयोग करना सीखे
अंत में बात करते हैं सबसे जरूरी टॉपिक के बारे में आपको समय का सही उपयोग करना आना चाहिए। जी हां नौकरी हो या बिजनेस यदि आपने समय का सही उपयोग नहीं किया तो आपको भविष्य में काफी परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है। ऐसे में टाइम मैनेजमेंट सीखना भी आप प्राथमिकता के आधार पर कर सकते हैं। यह स्किल उन लोगों के लिए ज्यादा महत्वपूर्ण आएगी जो फ्रीलांसिंग या रिमोट वर्क करते हैं।

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केशव प्रसाद मौर्य: राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन के तहत उत्तरप्रदेश में खोली गई 1876 कैंटीन!

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सचिन मलिक, लखनऊ: उत्तर प्रदेश के उप-मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य के निर्देश पर राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन के तहत गठित स्वयं सहायता समूहों, संकुल स्तरीय संगठनों व ग्राम स्तरीय संगठनों से जुड़ी महिलाओं को स्वावलंबी व आत्मनिर्भर निर्भर बनाने लिये प्रभावी व ठोस कदम उठाए जा रहे हैं। इसी कड़ी में प्रदेश के सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों व अन्य प्रमुख स्थानो पर स्वयं सहायता समूहों की महिलाओं द्वारा प्रेरणा कैंटीन खोली गयी हैं।

इससे स्वयं सहायता समूहों की महिलाएं आत्मनिर्भर होने के साथ साथ, आमदनी बढ़ने से अपने घर-परिवार का आर्थिक, सामाजिक व शैक्षिक विकास और अधिक बेहतर ढंग से कर रही हैँ। मरीजों सहित तीमारदारो को भी इन दीदी कैफे से ताजा भोजन और नास्ता मिल रहा है। महिलाओं की आर्थिक स्थिति को संवारने वाला यह महत्वपूर्ण कदम है। उप-मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने मन्शा जाहिर की है कि इन प्रेरणा कैंटीनों में मोटे अनाज के व्यंजन भी बनाए जांय और अधिक बेहतर होगा।

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आमदनी बढ़ाने के लिए हर सम्भव कदम उठाए
राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन द्वारा समूहों की महिलाओं की आमदनी बढ़ाने के लिये हर सम्भव कदम उठाए जा रहे हैं और समूहों की महिलाओं को विभिन्न गतिविधियों से जोड़ कर उन्हें स्वावलंबी बनाया जा रहा है। प्रेरणा कँटीन संचालन हेतु सामुदायिक निवेश निधि ग्राम संगठन आजीविका निधि अथवा सी सी एल का उपयोग करवाते हुए कैंटीन हेतु उपयुक्त स्थान का चयन किया गया है।

ग्रामीण आजीविका मिशन योजना कारगर
स्वस्थ प्रदेश-खुशहाल प्रदेश की अवधारणा को साकार करते हुए सरकार महिलाओं के शैक्षिक, सामाजिक व आर्थिक उन्नयन के लिए पर विशेष रूप से फोकस कर रही है। उप-मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य के निर्देश पर विभाग स्वावलंबन और रोजगार से महिलाओं को जोड़ रहा है। इसमें राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन योजना कारगर बन रही है। एक तरफ जहां प्रेरणा कैंटीन के जरिए स्वयं सहायता समूह की महिलाओं को आत्मनिर्भर बनने के अवसर मुहैया कराए जा रहे हैं, वहीं इस योजना के तहत सामुदायिक/ प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों पर मरीजों के तीमारदारों को पौष्टिक व कम दरों पर भोजन उपलब्ध कराया जा रहा है।

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समूह द्वारा खोली गई संचालित 832 प्रेरणा कैंटीन
यूपी में 1876 स्थानो पर कैंटीन खोली गयी हैं, जिसमे प्रदेश के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों/प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रो पर समूह द्वारा संचालित 832 प्रेरणा कैंटीन खोली गयी हैं। अस्पताल में भर्ती रोगियों व तीमारदारों को कैंटीन का गरमागरम भोजन मुहैया कराने का उद्देश्य स्वास्थ्य पर विशेष ध्यान देना भी है। महिलाओं के हाथों का बना खाना जहां मरीजों को उत्तम स्वास्थ्य दिला रहा है, वहीं स्वयं सहायता समूह की यह पहल महिलाओं को आत्मनिर्भरता से भी जोड़ रही है।

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