महाकुंभ 2025 में रेलवे की विशेष व्यवस्था: हर 4 मिनट में स्पेशल ट्रेनें

प्रयागराज में चल रहे महाकुंभ 2025 में श्रद्धालुओं का हुजूम उमड़ पड़ा है, और खासतौर पर 29 जनवरी को होने वाले मौनी अमावस्या स्नान के लिए बड़ी संख्या में तीर्थयात्री यहां आ रहे हैं। इस विशाल आयोजन में करीब 10 करोड़ श्रद्धालुओं के स्नान करने का अनुमान है, और इसी को देखते हुए भारतीय रेलवे ने यात्रियों की सुविधा के लिए विशेष व्यवस्था की है।
रेलवे द्वारा स्पेशल ट्रेनें: 150 ट्रेनें एक दिन में
महाकुंभ 2025 में मौनी अमावस्या के दिन रेलवे ने लगभग 150 स्पेशल ट्रेनें चलाने की योजना बनाई है। इन ट्रेनों का संचालन हर 4 मिनट में किया जाएगा ताकि तीर्थयात्रियों को कोई असुविधा न हो। इससे पहले, 2019 के अर्धकुंभ में 85 ट्रेनें चलाई गई थीं, जबकि इस बार आंकड़ा दोगुना है।
क्यों खास है मौनी अमावस्या?
मौनी अमावस्या का हिंदू पंचांग में खास महत्व है। इस दिन का पालन श्रद्धालु अपनी आत्मशांति और संयम के लिए करते हैं। इस दिन गंगा स्नान, उपवास और दान करने से पापों से मुक्ति मिलती है और मोक्ष की प्राप्ति होती है। इस दिन प्रयागराज में संगम स्थल पर स्नान करने का विशेष महत्व है, जहां श्रद्धालु आस्था की डुबकी लगाते हैं।
अब तक 15 करोड़ श्रद्धालुओं ने किया स्नान
महाकुंभ 2025 की शुरुआत 13 जनवरी से हुई थी, और अब तक 15 करोड़ से अधिक श्रद्धालुओं ने संगम में डुबकी लगाई है। इस महाआयोजन का समापन 26 फरवरी को होगा, और कुल मिलाकर 45 करोड़ से अधिक श्रद्धालुओं के आने की संभावना है।
रेलवे की व्यवस्थाएं: यात्रियों के लिए विशेष इंतजाम
भारतीय रेलवे ने महाकुंभ 2025 के लिए प्रयागराज के प्रमुख रेलवे स्टेशनों पर विशेष इंतजाम किए हैं। रामबाग और झूसी स्टेशनों पर 80 UTS काउंटर और 20 ATVM (ऑटोमेटिक टिकट वेंडिंग मशीन) लगाए गए हैं। इसके अलावा, भीड़ को नियंत्रित करने के लिए 30 मोबाइल UTS काउंटर भी स्टेशन परिसर में सक्रिय किए गए हैं।
महाकुंभ 2025 के दौरान भारतीय रेलवे की यह विशेष व्यवस्था सुनिश्चित करती है कि लाखों तीर्थयात्री बिना किसी परेशानी के अपनी यात्रा पूरी कर सकें। मौनी अमावस्या के दिन इस आयोजन का महत्व और बढ़ जाता है, और रेलवे की स्पेशल ट्रेन सेवाओं से यात्रा करना और भी सरल हो जाएगा।
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